
कांग्रेस सांसद केसी वेणुगोपाल ने आरोप लगाया कि एअर इंडिया चेन्नई हवाई अड्डे के रनवे पर संभावित सुरक्षा चूक के बारे में झूठ बोल रही है। रनवे पर पहले से एक विमान था। उन्होंने नागरिक उड्डयन महानिदेशालय (डीजीसीए) से इस घटना की निष्पक्ष जांच की भी मांग की।इसके अलावा एक और कांग्रेस सांसद के सुरेश ने भी लैंडिंग को लेकर जानकारी दी।
#WATCH | Delhi: “There should be an inquiry into the issue. An unfortunate incident happened yesterday. It was announced by the pilot that there was another aircraft on the runway when we were going to land. I spoke to DGCA as well. Let them have an inquiry. Air India is… pic.twitter.com/biNXtm5crF
— ANI (@ANI) August 11, 202
दरअसल 10 अगस्त को एअर इंडिया का विमान संख्या AI2455 तिरुवनंतपुरम से दिल्ली जा रहा था। रास्ते में मौसम खराब था और तकनीकी समस्या पर विमान की चेन्नई में आपात लैंडिंग कराई गई थी। घटना को लेकर विमान में सवार यात्री और कांग्रेस सांसद वेणुगोपाल ने बताया कि यह झूठ था, एअर इंडिया झूठ बोल रही है। इसकी घोषणा केवल कैप्टन ने की थी।
उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि जब पहली बार विमान लैंडिंग का प्रयास किया गया था, उसी स्थान पर पहले से ही एक अन्य विमान मौजूद था और पायलट के शीघ्र निर्णय ने अंतिम क्षण में विमान को नीचे खींच लिया जिससे यात्रियों की जान बच गई। जबकि एअर इंडिया ने कहा कि उस दौरान रनवे पर कोई विमान मौजूद नहीं था, मानक प्रोटोकॉल का पालन किया गया था और एहतियात के तौर पर विमानों का मार्ग बदला गया था और उनके पायलट ऐसी परिस्थितियों से निपटने के लिए अच्छी तरह प्रशिक्षित हैं।
मामले में कांग्रेस सांसद और विमान के यात्री के. सुरेश ने कहा कि कल शाम 7:45 बजे एअर इंडिया की उड़ान त्रिवेंद्रम हवाई अड्डे से दिल्ली के लिए रवाना हुई। एक घंटा 10 मिनट के बाद, पायलट ने घोषणा की कि रडार प्रणाली में संचार समस्या थी, इसलिए हमें चेन्नई वापस जाना पड़ा। फिर पायलट ने घोषणा की कि हम चेन्नई हवाई अड्डे पर उतरने वाले हैं, लेकिन रनवे को छूने से पहले उड़ान फिर से तेज गति से ऊपर चली गई। सभी यात्री घबरा गए।
उन्होंने कहा कि हवाई अड्डे के ऊपर 45 मिनट तक उड़ान भरने के बाद पायलट ने घोषणा की कि हम उतरने वाले हैं, और उड़ान सुरक्षित रूप से उतर गई। 160 यात्री सुबह 4:30 बजे के आसपास दूसरे विमान से दिल्ली हवाई अड्डे पर सुरक्षित रूप से उतरे। एअर इंडिया और DGCA को इस मामले की जांच करनी चाहिए।